मैथिलीशरण गुप्त के साहित्यिक अवदान पर प्रत्येक भारतीय को गर्व -माली
- सादड़ी
राष्ट्र कवि मैथिलीशरण गुप्त के साहित्यिक अवदान पर प्रत्येक भारतीय को गर्व है।उनकी रचनाएं कालजयी व उत्कृष्ट है, हमें उनकी रचनाओं को जरुर पढना चाहिए।
उक्त उद्गार प्रधानाचार्य विजय सिंह माली ने स्थानीय पीएम श्रीधनराज बदामिया राजकीय बालिका उच्च माध्यमिक विद्यालय सादड़ी में अखिल भारतीय साहित्य परिषद के तत्वावधान में आयोजित विचार गोष्ठी में व्यक्त किए। माली ने कहा कि भारत भारती, यशोधरा, पंचवटी, साकेत, उर्मिला जैसी कृतियां राष्ट्रभक्ति व मानवीय मूल्यों से ओतप्रोत है। मुख्य वक्ता रमेश सिंह राजपुरोहित ने मैथिली शरण गुप्त के जीवन परिचय व उनकी रचनाओं पर प्रकाश डाला।
इससे पहले सरस्वती पालीवाल व कविता कंवर के निर्देशन में निबंध व चित्रकला प्रतियोगिता आयोजित की गई जिसमें रमेश कुमार वछेटा व मनीषा सोलंकी ने निर्णायक की भूमिका निभाई। इनमें प्रथम द्वितीय तृतीय स्थान प्राप्त करने वाली बालिकाओं को प्रधानाचार्य विजय सिंह माली व उप प्राचार्य स्नेहलता गोस्वामी ने पारितोषिक देकर सम्मानित किया।
इस अवसर पर कन्हैयालाल महावीर प्रसाद वीरमराम चौधरी सुशीला सोनी व गजेंद्र सिंह समेत समस्त स्टाफ उपस्थित रहा।मंच संचालन प्रकाश कुमार शिशोदिया ने किया। उल्लेखनीय है कि राष्ट्र कवि मैथिलीशरण गुप्त का जन्म 3अगस्त को हुआ था।