
- मुंबई, भायंदर
कांदीवली स्थित शांतीनाथ झालावाङ जैन श्वेताम्बर मूर्तिपूजक संध के दामोदरवाङी में, परम पूज्य गच्छाधिपति आचार्य भगवंत राजेद्रसुरीश्रवर महाराज साहेब की असीम कृपा से और पूज्य आचार्य भगवंत मुक्ती वल्लभ विजय महाराज साहेब के आशीर्वाद से 525 आराधकों का वषीतप पारणा उत्सव बड़े हर्ष और उल्लास के साथ संपन्न हुआ। इस दौरान वषीतप की आराधना विशेष रूप से ध्यान आकर्षित करने वाली रही, जिसमें तपस्वी अंठम की तपस्या, छठी की तपस्या, आयबिल जैसी कठिन तपस्वी क्रियाएं शामिल थीं।
वषीतप की इस आराधना में सिद्धितप, चोसठ प्रहरी पोषध और अंठाई उपधान तप जैसी गहन तपस्या की गई। 400 दिनों की कठिन तपस्या को पारणा करके यह विशेष अवसर सफलतापूर्वक सम्पन्न हुआ।
पारणा के आयोजन की विशेषताएँ: वषीतप का पारणा वैशाख सुद 3 (अक्षय तृतीया) के शुभ दिन, 30 अप्रैल 2025 को किया गया। सुबह 6:00 बजे ईक्षु रस से भगवान आदीनाथ का अभिषेक हुआ। इसके बाद, सुबह 8:00 बजे दहाणुकर वाङी शीतलनाथ जैन मंदिर से पारणा मंङप तक यात्रा रवाना हुई। 8:30 बजे हस्तिनापुर नगरी में पारणा मंङप का भव्य उद्घाटन हुआ।
इसके पश्चात, गुरूभंगवतो के साथ तपस्वियों का मंगल प्रवेश हुआ और गोचरी का लाभ दिया गया। 9:15 बजे तपस्वी सहायक का प्रवेश हुआ, और 9:30 बजे श्रेयास कुमार द्वारा सभी तपस्वियों को ईक्षु रस से पारणा कराया गया।
पारणा की प्रक्रिया दो राउंड में की गई, पहले राउंड में 7 परिवारों को पारणा कराया गया, फिर दूसरे राउंड में 7 परिवारों के सदस्यों को पारणा किया गया। 11:00 बजे के बाद सभी को पारणा कराने की अनुमति दी गई।
भोजन व्यवस्था: 10:30 बजे संध स्वामीवात्सल्य भोजन कक्ष में भोजन की शानदार व्यवस्था की गई। यह सामूहिक वषीतप पारणा उत्सव इतिहास में एक यादगार आयोजन बना, जिसमें संध के सभी ट्रस्टीगण और कार्यकर्ताओं ने दिन-रात मेहनत की, जो सफल रही।
यह ऐतिहासिक पारणा उत्सव सप्ताह ग्राउंड, दहाणुकरवाङी महावीर नगर, कांदीवली (पश्चिम) के कमला विहार स्पोर्ट्स क्लब के सामने आयोजित किया गया।