राजस्थानबड़ी खबर

आपराधिक न्याय व्यवस्था में महत्वपूर्ण बदलाव साबित होंगे नए कानून- जिला कलक्टर अंकित कुमार सिंह नवीन आपराधिक कानूनों पर संगोष्ठी का आयोजन

आपराधिक न्याय व्यवस्था में महत्वपूर्ण बदलाव साबित होंगे नए कानून- जिला कलक्टर अंकित कुमार सिंह

  • डूंगरपुर

KHUSHAL LUNIYA
DESK EDITOR

KHUSHAL LUNIYA IS A LITTLE CHAMP WHO KNOW WEB DESIGN IN CODING LIKE HTML, CSS, JS ALSO KNOW GRAPHIC DESIGN AND APPOINTED BY LUNIYA TIMES MEDIA AS DESK EDITOR.

YOUTUBEFACEBOOKMOBILE

नवीन आपराधिक कानूनों पर संगोष्ठी का आयोजन

नवीन आपराधिक कानून की जानकारी के संबंध में जिला प्रशासन द्वारा जिला कलक्टर अंकित कुमार सिंह की अध्यक्षता एवं जिला पुलिस अधीक्षक मोनिका सेन के मुख्य आतिथ्य में बुधवार को संगोष्ठी का आयोजन किया गया। ईडीपी सभागार में आयोजित संगोष्ठी में जिला कलक्टर अंकित कुमार सिंह ने कहा कि समय के साथ बदलाव जरूरी है। तीन नए कानून भारत में अपराधों को नियंत्रित करने वाले और आपराधिक न्याय व्यवस्था में महत्वपूर्ण बदलाव के प्रतीक हैं।  यह  भारत में निष्पक्ष, कुशल और प्रभावी आपराधिक न्याय प्रणाली सुनिश्चित करने की दिशा में एक महत्वपूर्ण कदम है, जिसका मानव अधिकारों की सुरक्षा और कानून के शासन पर दूरगामी प्रभाव पड़ेगा। 1 जुलाई, 2024 से  नए आपराधिक कानून- भारतीय न्याय संहिता, भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता और भारतीय साक्ष्य अधिनियम-2023  लागू होंगे।
जिला पुलिस अधीक्षक मोनिका सेन ने कहा कि न्याय प्रशासन व्यवस्था में पहले के कानून में दण्ड का महत्व अधिक था परन्तु अब नए आपराधिक कानून में न्याय पर अधिक जोर दिया है। मास्टर ट्रेनर अभियोजन अधिकारीगण मोहनलाल कटारा, कविश जैन एवं उप निदेशक अभियान कमल कुमार शुक्ला उपस्थित रहे। संगोष्ठी के आरम्भ में कविश जैन ने नवीन आपराधिक कानूनों के बारे में जानकारी दी।
संगोष्ठी में अभियोजन विभाग के मास्टर ट्रेनर कमल शुक्ला उप निदेशक अभियोजन ने भारतीय न्याय संहिात 2023 में हुए बदलाव एवं नवीन प्रावधानों की जानकारी देते हुए बताया कि नया कानून पुरानी विधि भारतीय दण्ड संहिता का स्थान लेगा इसी नई संहिता में पहली बार छोटे अपराधो के मामलों में दण्ड में सामुदायिक सेवा का प्रावधान भी जोडा है। वहीं, स्नेचिंग को भी अपराध की श्रेणी में लाया गया है। इसके अलावा कोई व्यक्ति झूठा वायदा देकर या कोई प्रवंचना कर या शादी करने का वादा करके दुष्कर्म करता है तो इसे भी दण्ड की श्रेणी में लाया गया है। नए कानून में पहली बार संगठित अपराध, आतंकवाद, कृत्य आदि को भी नई संहिता में अपराध बनाया गया है।
वाहन दुर्घटना के मामलों में चालक द्वारा उपेक्षा पूर्ण कृत्य से चालक किसी की मृत्यु कारित करता है तो नए कानून में 5 वर्ष की कारावास का प्रावधान किया गया हैं। हत्या के मामलो में मोब लींचिंग को भी अपराध की श्रेणी में लाया गया है। संगोष्ठी में भारतीय नागरिक सुरक्षा संहिता 2023 के नवीन प्रावधानों के बारे में जानकारी देते हुए अभियोजन अधिकारी कविश जैन ने बताया कि नया कानून बीएनएसएस एक प्रकियात्मक कानून है जो पुरानी दण्ड प्रक्रिया संहिता का स्थान लेगा। नई संहिता में जीरोएफ आईआर एफआईआर का प्रावधान किया है।
गिरफ्तारी के समय संगठित अपराध, आतंकवाद, कृत्य, गंभीर प्रकृति के अपराधों को किसी व्यक्ति को गिरफ्तार करते समय हथकड़ी का प्रयोग करने की शक्ति प्रदान की है। तलाशी एवं जब्ती के समय ऑडियो-वीडियो इलेक्ट्रॉनिक सामग्री से भी मौके पर कार्यवाही करने आवश्यक कर दिया है। अनुसंधान के दौरान गवाह यदि वह 60 वर्ष के अधिक उम्र का व्यक्ति, महिला 15 वर्ष से कम आयु का व्यक्ति, गंभीर बीमारी से ग्रसित व्यक्ति है तो उसके बयान उनके निवास स्थान पर लिए जाने का प्रावधान किया गया है। पीडि़त पक्ष को अनुसंधान की प्रगति के बारे में सूचित करने का तथा उसको प्रथम सूचना की प्रति निःशुल्क देने का प्रावधान किया गया है।
गवाहों के कथन दृश्य श्रवय इलेक्ट्रॉनिक माध्यम से अभिलेखित करने का प्रावधान किया गया है। गंभीर प्रकृति के मामलों में फोरेंसिक जांच को भी आवश्यक किया हैं, जिसमें विशेषज्ञ द्वारा क्राइम सीन का निरीक्षण करने का प्रावधान किया गया हैं। बार एसोसिएशन डूंगरपुर के अध्यक्ष सिद्वार्थ मेहता ने बताया कि नया कानून अपराधों की जांच, गिरफ्तारी, विचारण, जमानत की प्रक्रिया को नियंत्रित करता हैं। संगोष्ठी में वरिष्ठ अधिवक्ता लक्ष्मीलाल जैन ने बताया कि आजादी के सात दशक के लंबे अनुभव, तकनीक का बढ़ता प्रभाव, सबको तुरन्त न्याय मिले। इस उद्देश्य से कानूनों में परिवर्तन किया है।
Advertising for Advertise Space
मोहनलाल कटारा अभियोजन अधिकारी ने भारतीय साक्ष्य अधिनियम की जानकारी दी। संगोष्ठी में डूंगरपुर बार एसोसिएशन के मोहनलाल पण्ड्या, अब्दुल सलाम गोरी, विकास जांगिड, ए.एन.मंसूरी, लोक अभियोजक कोशिक पण्ड्या, अनमोल जैन एवं विधि महाविद्यालय के प्रोफेसर एवं छात्र, आम नागरिक, सामाजिक कार्यकर्ता तथा अभियोजन विभाग के कर्मचारी आदि उपस्थित रहे।

Khushal Luniya

Khushal Luniya is a young kid who has learned HTML, CSS in Computer Programming and is now learning JavaScript, Python. He is also a Graphic Designer. He is playing his role by being appointed as a Desk Editor in Luniya Times News Media Website.

One Comment

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button