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हाईवे पर डंपर दो सेकंड में जमीन में समाया: 25 फीट गहरा और चौड़ा गड्ढा, ड्राइवर बचा, सीवरेज लीकेज बनी वजह

जेठमल राठौड़
रिपोर्टर

जेठमल राठौड़, रिपोर्टर - मुंबई / बाली 

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अलवर।   नेशनल हाईवे 248A की सर्विस लेन पर शनिवार सुबह एक चौंकाने वाली घटना सामने आई। मिट्टी से भरा एक डंपर अचानक सड़क धंसने के कारण धरती में समा गया। इस हादसे में 25 फीट गहरा और चौड़ा गड्ढा बन गया। गनीमत यह रही कि डंपर चालक को स्थानीय लोगों ने समय रहते बाहर निकाल लिया, जिससे उसकी जान बच गई। घटना का सीसीटीवी वीडियो भी सामने आया है, जिसमें पूरी घटना कैद हुई है।

घटना का विवरण

यह हादसा सुबह करीब 8:30 बजे अलवर शहर के नेशनल हाईवे 248A की सर्विस लेन पर हुआ। प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, डंपर स्लो स्पीड में सड़क से गुजर रहा था। अचानक एक तेज धमाके के साथ सड़क धंसी और डंपर का पिछला हिस्सा जमीन में समा गया।

डंपर में 20 टन मिट्टी लदी थी, जो इसे और भारी बना रही थी। हादसे के बाद हाईवे पर लंबा जाम लग गया। सड़क पर फंसे वाहन चालकों को चार घंटे तक इंतजार करना पड़ा, जब तक क्रेन की मदद से डंपर को गड्ढे से बाहर नहीं निकाला गया।

ड्राइवर की आपबीती

डंपर ड्राइवर सहीराम ने बताया, “मैं बगड़ तिराहे की ओर जा रहा था। अचानक ट्रक नीचे धंस गया और मेरी आंखों के सामने अंधेरा छा गया। मुझे संभलने तक का समय नहीं मिला। आसपास के लोगों ने तुरंत मुझे केबिन से बाहर निकाला, जिससे मेरी जान बची।”

क्रेन के जरिए डंपर को निकाला गया

डंपर को गड्ढे से निकालने के लिए पहले 20 टन क्षमता वाली क्रेन मंगाई गई, लेकिन उससे काम नहीं बना। इसके बाद 30 टन क्षमता की क्रेन बुलाई गई, जिसकी मदद से करीब साढ़े चार घंटे की मशक्कत के बाद डंपर को बाहर निकाला जा सका।

प्रत्यक्षदर्शी का बयान

प्रत्यक्षदर्शी राजेश चौधरी ने बताया, “डंपर महज दो सेकंड में ही सड़क धंसने के कारण जमीन में चला गया। तेज धमाके की आवाज आई, जिससे आसपास के लोग डर गए। हाईवे पर वाहनों की लंबी कतार लग गई।”

सीवरेज और पानी की लीकेज बनी वजह

जानकारों के अनुसार, सड़क के नीचे सीवरेज और पानी की लाइन में लीकेज के कारण जमीन कमजोर हो गई थी। इस वजह से सड़क धंस गई। हाईवे का निर्माण करीब ढाई साल पहले हुआ था, जिसमें 10 किलोमीटर की सड़क के निर्माण पर 118 करोड़ रुपए खर्च हुए थे। इसके बावजूद इस तरह की घटना ने निर्माण कार्य की गुणवत्ता पर सवाल खड़े कर दिए हैं।

हादसे के बाद की स्थिति

इस घटना के बाद प्रशासन और टोल प्लाजा के अधिकारियों ने इलाके का निरीक्षण किया। विशेषज्ञों का कहना है कि सड़क के नीचे की लीकेज को ठीक किए बिना इस समस्या का स्थायी समाधान नहीं हो सकता।

हादसे के चलते हाईवे पर चार घंटे तक यातायात बाधित रहा, जिससे यात्रियों को खासी परेशानी हुई। घटना ने सड़क निर्माण की गुणवत्ता और रखरखाव पर एक गंभीर सवाल खड़ा कर दिया है।

(अलवर से विशेष रिपोर्ट)

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