मुख्यमंत्री ने यूपीएससी में चयनित अभ्यर्थियों को किया सम्मानित

भावी लोक सेवक अमृतकाल के योद्धा – प्रधानमंत्री मोदी के विकसित भारत के लक्ष्य में निभाएंगे अहम भूमिका
मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने युवाओं से विनम्रता, धैर्य और अपनी जड़ों से जुड़े रहने का किया आह्वान
जयपुर। मुख्यमंत्री भजनलाल शर्मा ने शुक्रवार को मुख्यमंत्री निवास पर आयोजित एक सम्मान समारोह में यूपीएससी सिविल सेवा परीक्षा-2024 में चयनित राजस्थान के प्रतिभाशाली अभ्यर्थियों को सम्मानित किया। उन्होंने इन नवचयनित लोक सेवकों को “अमृतकाल के योद्धा” बताते हुए कहा कि ये सभी प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी के 2047 तक विकसित भारत के लक्ष्य को साकार करने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाएंगे।
मुख्यमंत्री ने कहा कि हमारी सरकार ने बीते वर्ष से ऐसे होनहार युवाओं के सम्मान की परंपरा शुरू की है, जिससे प्रदेश के युवाओं को प्रेरणा मिलती रहे। उन्होंने चयनित अभ्यर्थियों को बधाई देते हुए कहा कि आपने अपने परिजनों, क्षेत्र और समूचे राजस्थान का गौरव बढ़ाया है। उन्होंने यह भी कहा कि जीवन की इस उपलब्धि के बाद आगे भी अपने आचरण और कार्यों से परिजनों की खुशी और गर्व को बनाए रखें।
“कर्ता के आगे हारे करतार” – मेहनत और संकल्प से मिलती है सफलता
मुख्यमंत्री शर्मा ने कहा कि कोई भी सफलता कठिन परिश्रम, समर्पण और दृढ़ निश्चय के बिना संभव नहीं है। यूपीएससी जैसी देश की सबसे कठिन परीक्षा में सफल होना खुद में एक बड़ी उपलब्धि है, लेकिन अब राष्ट्र निर्माण में सेवा देने का नया और चुनौतीपूर्ण दौर इन युवाओं के सामने है।
उन्होंने सभी चयनित युवाओं को सलाह दी कि वे विनम्रता, धैर्य और संवेदनशीलता के साथ आम जनता की आकांक्षाओं को समझें और उन्हें पूरा करने के लिए सतत प्रयासरत रहें।
“लोक सेवा से बढ़ाएं राजस्थान का मान”
मुख्यमंत्री ने कहा कि लोक सेवक न केवल शासन व्यवस्था के स्तंभ होते हैं, बल्कि समाज के निर्माण में भी उनकी महत्त्वपूर्ण भूमिका होती है। उन्होंने लोक सेवकों से नवाचार को अपनाने और नागरिक-केंद्रित सेवाओं को प्राथमिकता देने का आग्रह किया। मुख्यमंत्री ने युवाओं से अपील की कि वे अपनी कर्मभूमि में श्रेष्ठ सेवा देते हुए जन्मभूमि से जुड़े रहें और राजस्थान की गौरवशाली माटी की खुशबू देशभर में फैलाएं।
दृष्टिबाधित मनु गर्ग और त्रिलोक सिंह ने बढ़ाया प्रदेश का मान
समारोह में जयपुर निवासी दृष्टिबाधित मनु गर्ग ने बताया कि उन्होंने देशभर में 91वीं रैंक प्राप्त की है। उन्होंने इस सफलता का श्रेय अपनी माताजी के संकल्प और मार्गदर्शन को दिया। वहीं जोधपुर निवासी त्रिलोक सिंह, जिन्होंने ऑल इंडिया 20वीं रैंक हासिल की, ने बताया कि वे अपने पिता, जो भारतीय सेना में सेवा दे चुके हैं, से मिली प्रेरणा को अपने सेवा जीवन में आगे बढ़ाएंगे।
शॉल और स्मृति चिन्ह भेंट कर किया सम्मान
मुख्यमंत्री ने चयनित सभी प्रतिभाओं को शॉल ओढ़ाकर और स्मृति चिन्ह भेंट कर सम्मानित किया। कार्यक्रम के अंत में मुख्यमंत्री के साथ चयनित अभ्यर्थियों का सामूहिक फोटो सेशन भी हुआ।
इस अवसर पर राज्य के मुख्य सचिव, पुलिस महानिदेशक समेत वरिष्ठ अधिकारी और सभी चयनित अभ्यर्थी मौजूद रहे। अधिकारियों ने कहा कि मुख्यमंत्री द्वारा शुरू की गई यह परंपरा प्रदेश के अन्य युवाओं को भी सिविल सेवा की दिशा में प्रेरित करेगी।