माहेश्वरी समाज बनेड़ा तहसील अध्यक्ष गोपाल बांगड़ के फैसले का विरोध

- लुनिया टाइम्स न्यूज़, बनेड़ा
बनेड़ा तहसील माहेश्वरी समाज के अध्यक्ष गोपाल बांगड़ द्वारा शाहपुरा जिला बचाओ संघर्ष समिति को समर्थन देने के निर्णय का समाज में कड़ा विरोध हो रहा है। यह समर्थन समाज और तहसील कार्यकारिणी से चर्चा किए बिना दिया गया, जिसके चलते बनेड़ा और रायला का समूचा माहेश्वरी समाज विरोध में उतर आया है।
महिला मंडल और कार्यकारिणी का विरोध
माहेश्वरी महिला मंडल और तहसील माहेश्वरी सभा कार्यकारिणी ने भी इस कदम पर नाराजगी जताई है। दोनों ने स्पष्ट रूप से कहा कि बनेड़ा और रायला का माहेश्वरी समाज भीलवाड़ा जिले में ही रहना चाहता है।
समाज की मांग और विरोध
बनेड़ा माहेश्वरी समाज ने तहसील अध्यक्ष गोपाल बांगड़ से इस समर्थन को वापस लेने और स्पष्ट खंडन करने की मांग की है। विरोध जताने वालों में लादूलाल गगरानी, निर्मल कुमार अजमेरा, गोवर्धन लाल सोमानी, प्रहलाद राय भंडारी, दिलीप नुवाल, किशन लाल न्याति, सुभाष नुवाल, तेजपाल गगरानी, विनोद भंडारी, गणेश भंडारी, भानू नुवाल, स्नेह लता गगरानी, डिंपल न्याति समेत कई प्रबुद्ध समाजजन और महिला मंडल शामिल हैं।
गोपाल बांगड़ ने दी सफाई और खंडन
जब इस मामले पर बनेड़ा तहसील अध्यक्ष गोपाल लाल बांगड़ से बात की गई, तो उन्होंने स्पष्ट किया कि यह समर्थन उन्होंने कांग्रेस पार्टी के निर्देश पर दिया था। गलती से माहेश्वरी समाज के लेटरहेड पर समर्थन का पत्र जारी हो गया। इसके लिए उन्होंने माफी मांगी और खंडन करने की बात कही।
खंडन पत्र जारी
मिली जानकारी के अनुसार, गोपाल बांगड़ ने शाहपुरा जिला बचाओ संघर्ष समिति को पत्र लिखकर माहेश्वरी समाज बनेड़ा-रायला के समर्थन वाले बयान का खंडन कर दिया है। उन्होंने स्पष्ट किया कि बनेड़ा और रायला का माहेश्वरी समाज भीलवाड़ा जिले में ही रहना चाहता है और इस तरह के किसी भी समर्थन का समाज से कोई संबंध नहीं है।
समाज का रुख स्पष्ट
यह प्रकरण माहेश्वरी समाज की एकजुटता को प्रदर्शित करता है, जहां बिना चर्चा और सहमति के लिए गए किसी भी फैसले का कड़ा विरोध किया गया। समाज ने यह संदेश दिया है कि भीलवाड़ा जिले में बने रहना उनकी प्राथमिकता है।